भाजपा ने हरियाणा विधानसभा चुनाव मे उम्मीदवारों की पहली सूची पर अंतिम मुहर लगाई । सोमवार को दिल्ली स्थित भाजपा मुख्यालय में शीर्ष नेताओं ने हरियाणा कोर ग्रुप के साथ बैठक की। इसमें सभी सीटों पर अंतिम बार मंथन कर जातीय व क्षेत्रीय समीकरण पर सामंजस्य बैठाने के बाद बीजेपी के राष्ट्रीय अध्यक्ष जेपी नड्डा व केंद्रीय गृह ऍवं सहकारिता मंत्री अमित शाह ने उम्मीदवारों के नाम पर अंतिम मुहर लगा दी। मंगलवार या बुधवार को उम्मीदवारों की सूची जारी हो सकती है।
दिल्ली स्थित भाजपा मुख्यालय पर जेपी नड्डा व अमित शाह ने सोमवार देर रात को हरियाणा विधानसभा चुनाव प्रभारी धर्मेंद्र प्रधान, प्रदेश प्रभारी सतीश पूनिया, केंद्रीय मंत्री मनोहर लाल, सीएम नायब सिंह सैनी व मोहन लाल बड़ौली समेत अन्य नेताओं के साथ बैठक की।इस दौरान 55 सीटों के प्रत्याशियों के साथ बाकी बची 35 सीटों के पैनल पर भी चर्चा की गई।
जजपा से आए पूर्व विधायकों को भी चुनाव लड़ाएगी भाजपा
पिछले दो दिनों में पार्टी में शामिल हुए जजपा के पूर्व विधायकों को भी चुनाव लड़वाने पर चर्चा की गई। बीजेपी शिष नेतृत्व जजपा से आए पूर्व विधायों को भी चुनाव लड़वाना चाहती है। इसके साथ ही छोटी पार्टियों के साथ गठबंधन पर भी चर्चा की गई। हालांकि यह साफ नहीं हो सका कि क्षेत्रीय पार्टीयों बीजेपी कितनी सीटें देगी। मगर यह तय हो चुका है कि भाजपा शिषनेतृत्व दो क्षेत्रीय पार्टियों को दो से तीन सीटें दे सकती है
आजाद समाज पार्टी और जजपा के गठबंधन से मिलेगी चुनौती
हाल ही मे आजाद समाज पार्टी के नेता और नगीना से सांसद चंद्रशेखर रावण और जजपा के राष्ट्रीय अध्यक्ष दुष्यंत चौटाला ने प्रेस कोन्फ़्रेंस कर ये बताया की हरियाणा विधानसभा चुनाव 2024 मे उनकी पार्टी साथ मे चुनाव लड़ेगी जिसमे 70 सीटों पर जजपा के उम्मीदवार तो 20 सीटों पर आजाद समाज पार्टी के उम्मीदवार चुनाव लड़ेंगे । जजपा और आजाद समाज पार्टी के साथ आने के बाद जाट और दलित वोटों का भारी नुकसान बीजेपी को होना तय माना जा रहा है ॥ इसकी खास वजह ये है की जाट और ओबीसी वोटों पर जजप की पकड़ है तो वहीं एएसपी की पकड़ दलित वोटों पर मजबूत मानी जाती है , । आपको बता दे की पिछले चुनाव मे बीजेपी और जजपा ने मिल कर हरियाणा मे सरकार बनाई थी । पर कुछ दिन पहले ही दुष्यंत चौटाला ने सरकार से अपना समर्थन वापस ले लिया था ॥
सावित्री जिंदल ने कभी चुनाव लड़ने से इन्कार नहीं किया
कुरुक्षेत्र से सांसद नवीन जिंदल सोमवार को नई दिल्ली पहुंचे। वहां उन्होंने मीडिया के सवालों का जवाब देते हुआ कहा कि सावित्री जिंदल का पुराना राजनीतिक इतिहास रहा है। वह विधायक से लेकर मंत्री रही हैं। हिसार, कुरुक्षेत्र ही नहीं बल्कि पूरे हरियाणा की लोकप्रिय नेता हैं। उन्होंने कभी भाजपा के सामने चुनाव न लड़ने की कोई इच्छा जाहिर नहीं की है। चुनाव लड़वाने का फैसला पार्टी को करना है और पार्टी का निर्णय ही अंतिम निर्णय होगा । उन्होंने कहा कि लोकसभा चुनाव में कुरुक्षेत्र की छह विधानसभा जीते थे। इस बार नौ की नौ विधानसभा सीटे जीतेंगे और एक बार फिर से हम हरियाणा मे सरकार बनाएंगे ॥